NEW DELHI. रेलवे में पहली बार किसी महिला अधिकारी को रेलवे बोर्ड का चेयरमैन बनाया जा रहा है. रेलवे बोर्ड में परिचालन और व्यवसाय विकास की सदस्य जया वर्मा सिन्हा (IRMS) के नाम पर ACC अपाइंटमेंट कमेटी ऑफ कैबिनेट ने मुहर लगा दी है. रेलवे बोर्ड के निवर्ममान अध्यक्ष अनिल कुमार लाहोटी का कार्यकाल आज पूरा हो रहा है. नए अध्यक्ष के चयन की वरीयता में चार अधिकारियों का नाम आया था, जिसमें जया वर्मा को इसके लिए फाइनल किया गया है.
इंडियन रेलवे मैनेजमेंट सर्विस की अधिकारी जया वर्मा सिन्हा अगले माह सेवानिवृत्त हो रही है लेकिन उन्हें सेवा विस्तार देते हुए 31.08.2024 तक के लिए रेलवे बोर्ड का चेयरमैन बनाने की अधिसूचना जारी की गयी है. जया वर्मा ने 1986 बैच की IRTS अधिकारी हैं. 18 सितंबर 1963 को दिल्ली में जन्मी जया ने स्नातक की पढ़ाई इलाहाबाद विश्वविद्यालय से पूरी की.
ओडिशा ट्रेन हादसे के दौरान जया वर्मा सिन्हा की पहचान पीएमओ तक बनी. घटना के बाद उन्होंने पीएम नरेंद्र मोदी को बताया कि दुर्घटना की रात क्या हुआ था. उन्होंने प्रभावित यात्रियों और उनके परिवारों के लिए राहत और बचाव प्रयासों के लिए रेलवे की प्रतिबद्धता जतायी थी. रेलवे बोर्ड के चेयरमैन के पद तक पहुंचने में उनकी प्रभावी भूमिका यहीं से तय हुई.
यहां यह बताना लाजिमी होगा कि जया वर्मा सिन्हा से सीनियर दक्षिण पूर्व रेलवे की पूर्व व 1985 बैच की अधिकारी अर्चना जोशी थी. ऐसा कहा जाता है कि वह CEO बनने से रुचि नहीं दिखाते हुए SER/GM बने रहता चाहती थी. यही से जया वर्मा सिन्हा के लिए CEO तक पहुंचने का रास्ता खुला. CEO पद ठुकराकर GM/SER बने रहने की इच्छा रखने वाली अर्चना जोशी को बालासोर दुर्घटना के बाद यह पद भी छोड़ना पड़ा था.
श्रीमती जया वर्मा सिन्हा ने ने 14.12.2017 को दक्षिण पूर्व रेलवे के नए प्रधान मुख्य वाणिज्यिक प्रबंधक के रूप में पदभार संभाला था. वह पहले दक्षिण पूर्व रेलवे की वरिष्ठ उपमहाप्रबंधक और मुख्य सतर्कता अधिकारी थीं. वह रेलवे में विभिन्न अहम पदों पर जिम्मेदारी निभा चुकी है.
रेलवे बोर्ड की नयी चेयरमैन जया वर्मा सिन्हा को रेलहंट की शुभकानाएं.